UP School Balvatika Merge News: यूपी में संचालित परिषदीय प्राथमिक स्कूलों को आंगनबाड़ी बाल वाटिका स्कूलों में बदलने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है बता दें उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा विभाग के द्वारा जितने भी ऐसे विद्यालय हैं जो पड़ोस के विद्यालय में मर्ज कर दिए गए हैं उन सभी विद्यालयों में प्री प्राइमरी स्कूल संचालित किए जाएंगे इन स्कूलों के 50 मीटर दायरे में आने वाले जितने भी आंगनबाड़ी केंद्र हैं सभी अन्य विद्यालयों में शिफ्ट किए जाएंगे और इन विद्यालयों में 3 साल से लेकर 6 साल तक के बच्चों को बाल वाटिका की शिक्षा उपलब्ध कराई जाएगी इन सभी स्कूलों में आंगनबाड़ी कर्ताओं के साथ संविदा ईसीसीई शिक्षक मिलकर पढ़ाएंगे।
UP School Balvatika Merge News Today
उत्तर प्रदेश राज्य में शिफ्टिंग की प्रक्रिया जोरों से चलाई जा रही है पहले परिचय दिए प्राथमिक स्कूलों तथा उच्च प्राथमिक स्कूलों को पास के स्कूलों में मर्ज किया जा रहा है मर्ज होने के बाद खाली बच्चे कैंपस में अब बाल वाटिका की पढ़ाई शुरू की जाएगी इसके लिए आंगनबाड़ी केदो को इन खाली पड़े कैंपसों में शिफ्ट किया जाएगा बता दें इन खाली पड़े विद्यालयों में 3 साल से लेकर 6 साल तक के बच्चों को फ्री प्राइमरी की शिक्षा प्रदान कराई जाएगी जिसके अंदर आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और संविदा पर तैनात होने वाले संविदा एजुकेटर इन बच्चों को पढ़ाएंगे। इन खाली पड़े स्कूलों के भौतिक सत्यापन के बाद आंगनबाड़ी केंद्र इन स्कूलों में शिफ्ट कर दिए जाएंगे इसके बाद बाल वाटिका की पढ़ाई शुरू की जाएगी।
1 लाख से ज्यादा संविदा एजुकेटर किए जाएंगे तैनात
रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश राज्य में एक लाख से भी ज्यादा आंगनबाड़ी केदो को चुना गया है और इनमें बाल वाटिका की पढ़ाई शुरू करने के लिए तकरीबन 110000 संविदा एजुकेटर तैनात किए जाएंगे फिलहाल 10000 और 8800 संविदा एजुकेटर को तैनात करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है आपकी जानकारी के लिए बता दें 110000 संविदा एजुकेटर तैनात करने की प्रक्रिया कई चरणों में पूरी की जाएगी इस योजना को पूरा होने में थोड़ा समय लग सकता है परंतु आने वाले समय में बाल वाटिका शिक्षा को पूरी तरह से संविदा एजुकेटर के हवाले कर दिया जाएगा।
उत्तर प्रदेश में 10827 स्कूलों को किया गया बंद
रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश में अब तक कुल 10827 स्कूलों को मर्ज कर दिया गया है या कहीं इन स्कूलों में बच्चों की कम संख्या होने के कारण इन्हें पड़ोसी स्कूलों में शिफ्ट कर दिया गया है और इन खाली बच्चे स्कूलों का संपूर्ण रूप से लाभ उठाने के लिए सरकार ने इन स्कूलों को प्री प्राइमरी स्कूलों में बदलने के लिए विभागीय आदेश जारी कर दिए हैं इसके बाद से इन खाली पड़े स्कूलों में बाल वाटिका की पढ़ाई शुरू कर दी जाएगी बता दे इन स्कूलों में 3 साल से लेकर 6 साल तक के बच्चों को आंगनवाड़ी में प्री प्राइमरी की शिक्षा दी जा रही है और यह शिक्षा आंगनवाड़ी सहायिका और आंगनवाड़ी कार्यकर्ता के द्वारा उपलब्ध कराई जा रही है और उनकी सहायता के लिए अब संविदा पर एजुकेटर रखे जाएंगे जो बाल वाटिका की पढ़ाई में मदद करेंगे इसके लिए 20000 संविदा एजुकेटर की तैनाती के आदेश जारी कर दिए गए हैं और पहले चरण की प्रक्रिया जारी है और साथ ही